Manifesto
शिक्षा एवं स्वास्थ्य पर फोकस किसी भी व्यक्ति की कमाई का अधिकतम हिस्सा शिक्षा एवं स्वास्थ्य पर ही खर्च हो जाता है। ऐसे में अगर इन दो चीजों पर बेहतर कार्य कर दिया जाए तो व्यक्ति अनावश्यक चिंता से बच सकता है। अगर मैं अपने क्षेत्र का सांसद बनूं तो सबसे पहले अपनी सांसद निधि से शिक्षा एवं स्वास्थ्य को बेहतर करने की कोशिश करुंगा। संत कबीर नगर लोकसभा में कुल 9 ब्लॉक है। सबसे पहले इन सभी ब्लॉकों में 10-10 कमरे वाले स्कूल का निर्माण कराउंगा। जिसकी लागत 5 करोड़ रुपए आएगी। ये स्कूल उस ब्लॉक के सभी बच्चों के लिए मुफ्त में रहेंगे। यहां पढ़ाने वाले वे अध्यापक होंगे, जो बेहतर शिक्षा के बावजूद भी बेरोजगार हैं। उन्हें प्रत्येक माह सैलरी भी दी जाएगी। इसके साथ ही विद्यालय पर प्रत्येक सप्ताह चिकित्सा जांच शिविर भी आयोजित कराई जाएगी। जहां बच्चों से लेकर सभी महिलाओं-बुजुर्गों की रुटीन जांच होगी। जिससे हमारे मतदाता अपने स्वास्थ्य के प्रति सजक हो सके। अब यहां सबसे बड़ा सवाल यह है कि चिकित्सा जांच करेगा कौन? बतौर सांसद अगर प्राइवेट अस्पतालों में काम कर रहे डॉक्टर या जिला चिकित्सा अधिकारी से इसके लिए अनुरोध करुं तो संभव है कि वह मान जाएं और हमारे साथ सेवा कार्य में जुट जाएं। पास होगा स्कूल तो बच्चियों को मिलेंगी खुशियां प्रत्येक ब्लॉक में स्कूल बन जाने से वहां रहने वाले बच्चे-बच्चियों के लिए सुविधाएं तो होंगी ही साथ ही उनके परिजन महंगे प्राइवेट स्कूलों की मार से बच जाएंगे। मुफ्तखोरी बंद कराने की कोशिश हमारे मतदाताओं में मुफ्तखोरी की आदत है, वे चुनावी लॉलीपॉप के बहकावे में आकर बिना सोझे-समझे किसी भी ऐरे गैरे नत्थू खैरे को अपना वोट दे देते हैं, जो अगले 5 साल उसी चुनावी लॉलीपॉप के बल पर अपनी हवेली खड़ा करता है। ऐसे में कोशिश करुंगा कि अपने क्षेत्र के 19 लाख मतदाताओं से स्वंय मिलकर उनसे निवेदन करुंगा कि सरकार द्वारा राशन समेत तमाम मुफ्त की चीजों का बहिष्कार करें और जिला अधिकारी से कहें कि अब हमें सिर्फ शिक्षा और स्वास्थ्य ही मुफ्त में चाहिए। बाकि हम सबल बनकर कमा-खा लेंगे। इससे हमारी अर्थव्यवस्था पर भी विशेष फर्क पड़ेगा। प्रतिस्पर्धी परिक्षा में उत्तीर्ण होने वाले छात्रों को विशेष सुविधा मैंने कई बार देखा है कि जब कोई छात्र किसी प्रतिस्पर्धी परिक्षा को उत्तीर्ण करता है तो आर्थिक संकट की वजह से दाखिला नहीं ले पाता है और भविष्य को राम भरोसे छोड़ देता है। ऐसे में अगर मैं सांसद हुआ तो उन छात्रों के आर्थिक सुविधा की व्यवस्था तो करुंगा ही, साथ ही अपने एक प्रतिनिधि को यह जिम्मेदारी भी दे दूंगा कि अगर कोई छात्र लोन लेकर पढ़ाई करना चाहता है तो कागजी काम से लेकर हरेक जगह उसकी मदद करेंगे। और अगर उसके पास सुदूर शहर में रहने की व्यवस्था नहीं है तो उसके लिए भी विशेष इंतजाम किए जाएं। जिससे वह अपना भविष्य संवार सकें। अगर उसका भविष्य बेहतर होगा तो उसके परिवार के साथ मेरे संसदीय क्षेत्र का भी भविष्य उज्ज्वल होगा। इसके अलावा भी बहुत से ऐसे कार्य हैं, जिससे मैं अपने संसदीय क्षेत्र का देश का सर्वश्रेष्ठ संसदीय क्षेत्र बना सकता हूं।